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"In a dark, eerie room, something sinister watches from beneath the bed." |
मैं हाल ही में पुणे शिफ्ट हुआ था। नया जॉब मिला था और जल्दबाज़ी में एक 1BHK फ्लैट किराए पर ले लिया।
फ्लैट अच्छा था — चुपचाप, 4th फ्लोर पर, थोड़ी पुरानी बिल्डिंग। लेकिन मेरे लिए परफेक्ट।
पहले कुछ दिन ठीक बीते।
फिर शुरू हुआ एक अजीब पैटर्न।
हर रात 2:30 के करीब… मुझे हल्की-हल्की खरोंच जैसी आवाज़ें सुनाई देतीं।
धीमी, जैसे कोई बिस्तर के नीचे दीवार पर नाखून रगड़ रहा हो।
मैं उठता, लाइट जलाता — कुछ नहीं।
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एक रात मैंने मोबाइल से रिकॉर्डिंग ऑन करके सोना शुरू किया।
सुबह सुना…
"कच... कच... कच..."
बिलकुल वही आवाज़।
मैंने हिम्मत करके रिकॉर्डिंग को amplify किया…
और उसी के पीछे एक धीमी फुसफुसाहट थी:
"जग मत…"
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एक दिन ऑफिस से आया, और देखा कि बेडशिट थोड़ी बाहर की ओर खिंची हुई थी, जैसे किसी ने अंदर से खींचा हो।
मैंने हिम्मत करके बिस्तर उठाया…
नीचे कुछ नहीं था।
पर उस रात, जैसे ही मैं लेटा, मेरे कान के पास एक आवाज़ आई —
"तू क्यूँ देखता है? अब तुझे दिखेगा..."
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मेरी गर्दन पर नाखूनों जैसे 3 हल्के निशान थे।
मैंने डॉक्टर को दिखाया — उसने कहा, "कभी-कभी तनाव में लोग खुद ही नखों से खुद को नुकसान पहुंचा देते हैं।"
पर मेरे नाखून तो छोटे थे।
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आखिरी रात मैंने मोबाइल को टेबल पर रखकर कैमरा चालू छोड़ दिया।
सुबह देखा —
रात 2:34 बजे, रिकॉर्डिंग में बेड हल्का-सा हिल रहा था।
और... 2:35 पर बेड के नीचे से दो हाथ बाहर आते हैं... बहुत धीरे, फर्श पर चलते हुए।
मैंने वो वीडियो फिर कभी नहीं देखा।
अगले ही दिन वो फ्लैट छोड़ दिया।
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अब जब भी कोई नया फ्ॅट देखने जाता हू...तो सबसे पहले मैं बिस्तर के नीचे देखता हूं।
क्योंकि मुझे आज भी लगता है, वो चीज़ मेरे साथ नहीं, बिस्त
र के नीचे चलती है — जो सिर्फ उनींदों को सुनाई देती है।
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